आज मेरी यहाँ की आखिरी रात
जहाँ ज़र्रे ज़र्रे में तुम्हे
सिर्फ तुम्हे
महसूस किया था
आज जा रही हूँ वहाँ से
तुम्हारी यादों से दूर
शायद भुला सकूँ तुम्हे
तुम्हारे पास अपनी
यादों के साये छोड़कर
तुम्हे याद बना छोड़कर 14/2/14.............
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