About Me

New Delhi, DELHI, India
अपने बारे में क्या कहूँ, एक अनसुलझी पहेली सी हूँ.कभी भीड़ में अकेलापन महसूस करती हूँ! तो कभी तन्हाइयों में भरी महफिल महसूस करती हूँ! कभी रोते रोते हँसती हूँ, तो कभी हंसते हंसते रो पडती हूँ. मैं खुश होती हूँ तो लगता है,सारी दुनिया खुश है,और जब दुखी होती हूँ तो सारी कायनात रोती दिखती है! क्या हूँ मैं, नहीं जानती,बस ऐसी ही हूँ मैं, एक भूलभुलैया.......

Saturday, October 22, 2011

नरम

हवा के झोंकों की तरह इक फूल
       आके गिरा मुझ कंटीली झाडी में
खुद छलनी होके चला गया
       मुझे नरमी  देके




इतना दर्द समा चुका है मेरे भीतर
  कि साँस भी लेती हूँ
तो हिल्की बंध जाती है.

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